नई दिल्ली / कोलंबिया, 3 अक्टूबर 2025
कांग्रेस नेता और लोकसभा में विपक्षी नेता राहुल गांधी ने कोलंबिया के EIA यूनिवर्सिटी में आयोजित कार्यक्रम के दौरान कहा कि भारत के सामने सबसे बड़ा खतरा लोकतंत्र पर हो रहा हमला है। राहुल गांधी का यह बयान सीधे तौर पर बीजेपी सरकार की नीतियों और कार्यप्रणाली पर तीखा वार था।
राहुल गांधी ने कहा कि भारत की ताकत उसकी विविधता है—धर्म, भाषा और संस्कृति की इस विविधता को लोकतंत्र ही सुरक्षित रख सकता है। लेकिन, उनका आरोप था कि वर्तमान सरकार लोकतांत्रिक संस्थाओं और प्रक्रियाओं को कमजोर कर रही है और लोकतंत्र की बुनियाद पर “व्यापक हमला” हो रहा है। उन्होंने चीन का उदाहरण देते हुए कहा, “भारत चीन की तरह केंद्रीकृत और दमनकारी व्यवस्था को स्वीकार नहीं कर सकता। हमारी प्रकृति और संस्कृति इसे बर्दाश्त नहीं करती।”
इसके साथ ही राहुल गांधी ने बीजेपी सरकार की आर्थिक नीतियों पर भी सवाल उठाए। उन्होंने नोटबंदी और GST को छोटे और मध्यम उद्यमियों पर सीधा हमला बताया। राहुल गांधी का कहना था कि भ्रष्टाचार अब पूरी तरह केंद्रित हो गया है और बड़े कॉर्पोरेट घरानों का दबदबा पहले से ज्यादा मजबूत हुआ है।
राहुल गांधी के इन बयानों पर भारत में बीजेपी ने तीखी प्रतिक्रिया दी। बीजेपी ने उन पर “विदेश में जाकर देश को बदनाम करने” का आरोप लगाया और उन्हें “प्रचार के नेता” करार दिया। बीजेपी प्रवक्ता गौरव भाटिया ने कहा, “राहुल गांधी भारत में लोकतंत्र की चुनौतियों पर चर्चा करें तो ठीक है, लेकिन विदेश जाकर भारत की छवि को धूमिल करना लोकतंत्र का अपमान है।”
बीजेपी सांसद और अभिनेत्री कंगना रनौत ने भी राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए कहा कि यह बयान “अपमानजनक” है और किसी भी नेता को देश को अंतरराष्ट्रीय मंचों पर बदनाम करने का अधिकार नहीं होना चाहिए। राहुल गांधी का यह बयान और उस पर बीजेपी की तीखी प्रतिक्रिया से साफ है कि चुनावी मौसम से पहले राजनीतिक हलकों में बहस और गरम होने वाली है।