चेन्नई/करूर, 28 सितंबर 2025
करूर में हुई भीषण भगदड़ के बाद अब राजनीतिक और कानूनी लड़ाई तेज हो गई है। अभिनेता से नेता बने थलपति विजय की पार्टी TVK ने इस घटना को लेकर अदालत का दरवाजा खटखटाया है और आरोप लगाया है कि रैली में हुई भगदड़ कोई साधारण दुर्घटना नहीं बल्कि साजिश का नतीजा है। पार्टी नेताओं ने कहा कि रैली स्थल पर अचानक हुई अव्यवस्था और उसके बाद पुलिस द्वारा किए गए लाठीचार्ज ने स्थिति को और भी भयावह बना दिया।
TVK ने अपनी याचिका में अदालत से मांग की है कि इस घटना की स्वतंत्र और निष्पक्ष जांच कराई जाए और यह पता लगाया जाए कि किसके आदेश पर पुलिस ने लाठियां भांजीं। पार्टी नेताओं ने सवाल उठाया है कि जब भीड़ पहले से ही भगदड़ में फंसी हुई थी, तब लाठीचार्ज करने का क्या औचित्य था। उनका आरोप है कि इससे मौतों की संख्या और बढ़ी और घायलों की स्थिति गंभीर हो गई।
विजय ने सोशल मीडिया के माध्यम से एक बार फिर अपनी गहरी पीड़ा जताते हुए कहा कि उनका दिल टूट गया है और वह चाहते हैं कि इस घटना की सच्चाई पूरे देश के सामने आए। उन्होंने राज्य सरकार से अपील की कि जिम्मेदार लोगों पर कड़ी कार्रवाई की जाए और पीड़ित परिवारों को न्याय दिलाया जाए।
इस बीच विपक्षी दलों ने भी इस मामले में सरकार और पुलिस प्रशासन को घेरना शुरू कर दिया है। उनका कहना है कि सरकार इस त्रासदी को केवल मुआवज़े की घोषणा कर टालने की कोशिश कर रही है, जबकि असली जिम्मेदारों पर कार्रवाई अभी तक नहीं हुई है।
राज्य सरकार ने कहा है कि न्यायिक आयोग इस घटना की गहराई से जांच करेगा, जिसमें पुलिस की भूमिका और भीड़ प्रबंधन में हुई चूक की पूरी समीक्षा की जाएगी।
यह विवाद अब करूर की त्रासदी को एक बड़े राजनीतिक और कानूनी मुद्दे में बदल रहा है। आने वाले दिनों में अदालत में सुनवाई और आयोग की रिपोर्ट इस घटना की सच्चाई सामने लाएगी और यह तय करेगी कि भीड़ प्रबंधन में हुई चूक और पुलिस कार्रवाई के लिए कौन जिम्मेदार है।