नई दिल्ली 12 सितम्बर 2025
भारत में आर्टिफ़िशियल इंटेलिजेंस अब सिर्फ़ टेक्नोलॉजी प्रेमियों की रुचि नहीं रहा, यह आम उपभोक्ता की ज़रूरत बन चुका है। इसी कड़ी में Google और OpenAI दोनों ने अपने-अपने किफ़ायती सब्सक्रिप्शन प्लान पेश किए हैं। Google ने हाल ही में “AI Plus” नाम से एक मिड-टियर प्लान लॉन्च किया है, जबकि OpenAI ने भारत जैसे बड़े बाज़ार में “ChatGPT Go” को ₹399 प्रति माह की कीमत पर उपलब्ध कराया है। इन दोनों प्लान्स को खासतौर से उन उपभोक्ताओं को ध्यान में रखकर तैयार किया गया है जो प्रीमियम टियर (₹1600–₹2000/माह) नहीं लेना चाहते, लेकिन फ्री वर्ज़न की सीमाओं से भी बाहर निकलना चाहते हैं।
ChatGPT Go: भारतीय उपयोगकर्ताओं के लिए किफ़ायती ऑफ़र
OpenAI का ChatGPT Go भारत के लिए एक तरह से लोकलाइज़्ड प्लान है। इसकी सबसे बड़ी खूबी है इसकी कीमत—सिर्फ़ ₹399 प्रति माह, यानी कि एक मिड-रेंज मोबाइल रिचार्ज जितनी। इस प्लान के अंतर्गत उपयोगकर्ताओं को फ्री टियर की तुलना में लगभग दस गुना अधिक सुविधाएँ मिलती हैं। जैसे—दस गुना अधिक मैसेजेस भेजने की क्षमता, दस गुना अधिक इमेज जनरेट करने की सुविधा और साथ ही दस गुना अधिक फ़ाइल अपलोड का विकल्प। इसके अलावा, बातचीत का इतिहास और संदर्भ (मेमोरी) भी फ्री टियर से लगभग दोगुना लंबा रहता है, जिससे यूज़र को हर बार नए सिरे से बातचीत शुरू करने की परेशानी नहीं होती। सबसे अहम बात यह है कि भारतीय यूज़र्स इस सब्सक्रिप्शन का भुगतान सीधे UPI, PhonePe, Google Pay या Paytm जैसे लोकप्रिय पेमेंट ऐप्स से कर सकते हैं, जिससे ग्रामीण और शहरी दोनों इलाक़ों के उपयोगकर्ताओं के लिए यह बेहद आसान हो जाता है।
Google AI Plus: फीचर्स से भरपूर लेकिन भारत में इंतज़ार बाकी
Google ने अपने नए सब्सक्रिप्शन “AI Plus” को फिलहाल चुनिंदा देशों में लॉन्च किया है और इसे भारत में लाने की तैयारी चल रही है। इंडोनेशिया में यह प्लान करीब ₹400 के बराबर कीमत में उपलब्ध कराया गया है, जिससे अनुमान लगाया जा रहा है कि भारत में भी इसकी कीमत ChatGPT Go के आसपास ही होगी। इस प्लान में Google का शक्तिशाली मॉडल Gemini 2.5 Pro दिया जा रहा है, जो फ्री टियर की तुलना में कहीं ज्यादा सक्षम है। सबसे उल्लेखनीय फीचर है इसका कॉन्टेक्स्ट विंडो—जहाँ मुफ्त उपयोगकर्ता को केवल 32,000 टोकन तक की सीमा मिलती थी, वहीं AI Plus में यह सीमा बढ़कर 128,000 टोकन तक पहुँच जाती है। इसका सीधा मतलब है कि उपयोगकर्ता लंबी रिपोर्ट, जटिल दस्तावेज़ या रिसर्च को बिना संदर्भ खोए संभाल सकते हैं। इसके अलावा Google AI Plus में वीडियो क्रिएशन के लिए Veo 3 Fast और Flow जैसे टूल्स, इमेज-टू-वीडियो कनवर्ज़न, और Whisk जैसे विशेष टूल भी दिए जा रहे हैं। Gmail, Docs, Sheets और Drive जैसे Google Workspace ऐप्स में इसका इंटीग्रेशन इसे पेशेवर उपयोगकर्ताओं के लिए और भी आकर्षक बनाता है।
तुलना: किसे चुनें ChatGPT Go और किसे Google AI Plus?
अगर बात भारत की करें, तो फिलहाल ChatGPT Go ही लोगों के लिए वास्तविक विकल्प है क्योंकि यह पहले से लॉन्च हो चुका है और UPI सपोर्ट की वजह से हर वर्ग तक इसकी पहुँच आसान है। यह छात्रों, शिक्षकों, छोटे व्यवसायियों और उन सभी के लिए उपयुक्त है जिन्हें रोज़मर्रा की पढ़ाई, लेखन, अनुवाद या कंटेंट क्रिएशन के लिए एक किफ़ायती लेकिन भरोसेमंद एआई साथी चाहिए। वहीं Google AI Plus का फायदा उन लोगों को मिलेगा जिन्हें लंबी शोध परियोजनाओं पर काम करना होता है, वीडियो और मल्टीमीडिया कंटेंट बनाना होता है या Google Workspace जैसे प्रोडक्ट्स में लगातार इंटीग्रेशन चाहिए। इसकी असली ताकत इसके एडवांस टूल्स और बड़े कॉन्टेक्स्ट विंडो में है।
भारत में एआई की अगली लड़ाई
यह साफ़ है कि आने वाले महीनों में भारत AI सब्सक्रिप्शन सर्विसेज़ के लिए सबसे बड़ा युद्धक्षेत्र बनने जा रहा है। OpenAI ने ChatGPT Go के साथ शुरुआती बढ़त हासिल कर ली है और भारतीय उपभोक्ताओं को सीधे लक्षित कर अपनी पकड़ मजबूत बनाई है। दूसरी ओर Google, अपनी ताक़तवर ब्रांडिंग और Workspace इंटीग्रेशन के साथ AI Plus लाएगा तो यह कॉर्पोरेट और प्रोफ़ेशनल उपयोगकर्ताओं के बीच जल्दी लोकप्रिय हो सकता है। कुल मिलाकर, भारत के उपयोगकर्ताओं के पास अब यह विकल्प है कि वे अपनी ज़रूरत और बजट के हिसाब से चुनें—सस्ता और आसान ChatGPT Go या फीचर्स से भरा Google AI Plus।