2008 मालेगांव ब्लास्ट केस में सभी आरोपियों को बरी किए जाने पर आरएसएस नेता इंद्रेश कुमार ने कहा, “लंबे संघर्ष के बाद अंततः एनआईए कोर्ट ने उन नेताओं को आईना दिखाया जिन्होंने ‘भगवा और हिंदू आतंकवाद’ की साजिश रची थी। कोर्ट ने स्पष्ट किया कि उन्होंने असंवैधानिक, अमानवीय और यातनापूर्ण कार्य किए। निर्दोषों को बरी किया गया है। यह भी परोक्ष रूप से कहा गया कि इस साजिश को रचने वाले ही दोषी हैं। मुझे लगता है कि जिन्होंने यह साजिश रची, उनका कृत्य घृणित, अमानवीय और अत्याचार से भरा था। ऐसे नेताओं और पार्टियों को देश की जनता और कानून के द्वारा सबक सिखाया जाना चाहिए।”
उन्होंने यह भी कहा, “भगवा और हिंदू कभी आतंक नहीं था… देश और दुनिया में यह चर्चा चल रही है कि आतंकवाद का कोई धर्म नहीं होता। जब पहलगाम में बर्बर आतंकी हमला हुआ, तब सभी ने कहा कि इसे धार्मिक रंग न दिया जाए। लेकिन कांग्रेस ने आतंकवाद को धार्मिक नाम देकर एक घृणित अपराध किया। यह एक दंडनीय अपराध है।”